18 April 2009

सविता भाभी और इमोशनल अत्याचार


जमाने के इमोशनल अत्याचार से तंग आकर हम लोग किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं। सविता भाभी की भड़ास हो या पिंक चड्डी की चुगली। इस देश में हर किसी को अपने मन की बात अपने अंदाज में निकालने की आजादी कब की ही मिल चुकी है। अब तो हालात यह है कि पता ही नहीं चलता कि हम रो रहे हैं या हंस रहे हैं।
'अरे ये क्या? लड़कियों के पीछे गुंडे पड़ गए और तुम हाथ पर हाथ धरे बैठे हो। मुकाबला करो जी' हमारी बीवी ने कल ही तो हमसे कहा था। पर भई अपन तो एक बात जानते हैं। हम तो वहीं मदद करने जाते हैं, जहां कोई हमें आवाज देकर बुलाता है। क्या पता वो जो दूर से दिख रहा है, लड़ाई-भिड़ाई, झेड़झाड़ ना हो, प्यार करने का ही दूसरा तरीका हो। आपको तो पता है ना कि जमाना कितना खराब है। आज होता कुछ है, दिखता कुछ है। एम्नेशिया को भूल गए क्या। अरे वही मंगलौर का पब। वहां क्या हुआ था। हमारे दद्दा की जुबानी सुनिए-'अब हमरे गांव में तो रात-बिरात चोर-डांकून से ही इतनो भय लागो रहवै कि हम तो सूरज छुपनते ही घर में दुबक जात। पर आज के छोरा-छोरीन कू सौक चढ़ जात, तो आधी रातन में भी दारू पीर केनी नाचे करें। और मां- बापन नै तो कतई भूल जात हैं। अब कौनू वानर सेना आर केनी उन्ने धून देत, तो हंगामो मच जात। यामै कौनसी बड़ी बात होगी। छोरा-छोरी भी गलत, तो बे सेना वाढ़े भी गलत। और ससुरा ई गलत-सलत का फेर में हम जरूर हर बार फंस जात हैं। सो अपन ने तो फटे में टांग अड़ावै से तौबा ही कर ली है।' अब रेणु दीदी की तो आदत ही है, बयान देना। दे दिया बयान, भर दो पब। और ये कलमचियों की जमात भी तो कमाल की है। कह दिया कि अगर कोई प्यार करने से रोके, तो दे दो उसे पिंक चड्डी। अरे भई चड्डी दे दोगे, तो क्या बचेगा। कौनू लाज-शरम है या नाहीं। खैर छोड़ो, मुद्दे की बात है कि प्यार करना जरूरी है। दिल मांगता है भई। चलो, प्यार भी कर लिया। तो अब देर की बात की। कर दो खुलासा मीडिया के सामने ब्याह रचाने का। मां-बाप सब सन्न। ई का, अपन को लल्लू तो गयो हाथन से। गजब होगो रे। सारी इज्जत नीलाम कर दी। साथ तो रह लोगो, पर क्या निभा पाओगे। तुम भी अपने चंदू भाई की तरह देश छोड़ कौनू इलाज वास्ते मत चले जाना। या फिजा भाभी की तरह रो- रोकर जमानेभर में अपना दर्द बांटते मत फिरना। हमें तो पहले से पता है कि ये ससुरे जमाने के सताए निरीह प्राणी हैं। बेचारे अपनों के इमोशनल अत्याचार से तंग आ चुके हैं और अब कुछ भी करने को तैयार हैं। इन्हें हंसते देख अक्सर हमें रोना आता है और कमबख्त इनके आंसू टपकते ही मुंह से हंसी छूटने लगती है। क्या करें, आदत पुरानी है जी।चलिए छोड़िए ये बेसिर पैर की बातें। अब हम सुनाते हैं, एक मजेदार खबर। शरीर का नाश करने वाले जहर के बारे में तो आपने खूब सुना होगा, पर अब बाजार में मन का नाश करने वाला जहर भी खुले आम बिक रहा है। महिलाओं को मनचाहे कार्टून कैरक्टर में ढालो। खूब धन कूटो। भाभी जैसे पवित्र नाम को भी बेच डालो। यही सब तो इन दिनों हो रहा है। सविता भाभी नाम का काल्पनिक पात्र इन दिनों इंटरनेट की मदद से लोगों की दिलोदिमाग पर छा रहा है। गले में मंगलसूत्र, माथे पर लाल बिंदिया और मांग में सिंदूर यही है सविता भाभी की पहचान। अब आप पूछेंगे, ये सविता भाभी, आखिर किस चिड़िया का नाम है। तो चलिए हम बता देते हैं। सविता भाभी अपने पति से संतुष्ट नहीं है। होने को तो यह कार्टून कैरेक्टर है, पर लोगों को देखिए पगलाए जा रहे हैं, इसके पीछे। कहा तो ये भी जा रहा है कि सविता भाभी देश की पहली महिला पोर्न स्टार है। ये भाभीजी हर किसी पर फिदा होने को आतुर हैं। इसे देखने के लिए सौ-पचास नहीं, 2 लाख लोग रोजाना इंटरनेट पर पहुंचते हैं। अब भाषा की भी तो कोई दिक्कत नहीं है जी। इसकी कहानियां अंग्रेजी के साथ दस भारतीय भाषाओं में पेश की जा रही हैं। मजे की बात ये कि इसे देखने के लिए अलग से कोई पैसे खर्च नहीं पड़ेंगे, तो फिर इसे देखने वालों की संख्या में भी तेजी से इजाफा हो रहा है। अब आपका सवाल होगा कि यह गुल खिला कौन रहा है। तो भाईजी, इतना धांसू आइडिया तो हम हिंदुस्तानियों को ही आ सकता है। इंडियन पोर्न अंपायर नाम की कंपनी इस बेवसाइट की मालिक है। इस पात्र को देशमुख नाम के व्यक्ति के दिमाग की उपज माना जा रहा है। साइट के मालिक तो इस कार्टून पात्र को लेकर वे एक एनिमेटेड फिल्म बनाने फिराक में हैं। एक तरफ भारतीय सुरक्षा एजेंसियां इस वेबसाइट को ब्लॉक करने की जुगत भिड़ाने में लगी हैं, वहीं इसके मालिकों का कहना है कि सायबर ब्रांच को एक कार्टून साइट पर अपना समय बर्बाद करने की बजाय अपराधियों और आतंकवादियों की गतिविधियों पर नजर रखनी चाहिए, जो अपराध के लिए इंटरनेट का इस्तेमाल करते हैं। क्या गजब सलाह है, मान गए उस्ताद। इन लोगों का तो यह भी कहनाना है कि अब देश में वयस्क मनोरंजन को कानूनी रूप से मान्यता दे ही दो। जानकार लोग बताते हैं कि सविता भाभी की बेवसाइट देश की 45वीं सबसे मशहूर साइट में शुमार हो चुकी है, तो इससे आप आसानी से पता लगा सकते हैं कि हम हिंदुस्तानी कामदेव और रति को कितना मानते हैं। अब बंगलौर में तो एक पांचवी क्लास के बच्चे ने इस कैरव्क्टर को देखकर अपनी टीचर को अश्लील एमएमएस तक कर डाला। गजब का असर है, अब तो सोचना ही पड़ेगा।
-आशीष जैन

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